Haryana Weather Alert: हरियाणा में आज शनिवार से वेस्टर्न डिस्टरबेंस के असर से मौसम में बदलाव होने की संभावना है. मौसम विभाग ने अनुमान जताया है कि राज्य में अगले 2 से 3 दिन हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है. इस दौरान कुछ स्थानों पर ओलावृष्टि भी देखने को मिल सकती है. खासकर बादलवाही के चलते प्रदेश में दिन का तापमान गिर सकता है, जबकि रात के तापमान में बढ़ोतरी हो सकती है. शुक्रवार रात को पानीपत, हिसार, भिवानी और जींद के आसपास के क्षेत्रों में धुंध का असर देखने को मिला था, जिसके कारण विजिबिलिटी जीरो हो गई थी.
मौसम विभाग का येलो अलर्ट और बारिश की संभावना
मौसम विभाग ने अगले दो से तीन दिनों तक प्रदेश में हल्की से मध्यम बारिश (light to moderate rainfall) के आसार जताए हैं. सिरसा, फतेहाबाद, हिसार, कैथल, जींद, पानीपत, सोनीपत, रोहतक, भिवानी, महेंद्रगढ़, चरखी दादरी, झज्जर, रेवाड़ी, गुरुग्राम, फरीदाबाद, मेवात और पलवल में येलो अलर्ट (yellow alert Haryana) जारी किया है. इस दौरान दक्षिण हरियाणा के कई इलाकों में धुंध (fog) भी छाई रह सकती है, जिससे मौसम और भी ठंडा महसूस हो सकता है. वहीं 12 जनवरी से मौसम में गहरा कोहरा (dense fog) छा सकता है, जिससे दिन के तापमान में और गिरावट आ सकती है.
बरसात का असर और तापमान में गिरावट
मौसम विभाग का कहना है कि वेस्टर्न डिस्टरबेंस (western disturbance) के कारण नमी (humidity) बनी रहेगी और इससे तापमान में गिरावट आएगी, लेकिन यह गिरावट इतनी ज्यादा नहीं होगी कि तापमान जमाव बिंदु (freezing point) की ओर बढ़ जाए. इस दौरान वातावरण में नमी और ठंडक का प्रभाव रहेगा. इस मौसम का असर मुख्य रूप से हरियाणा के दक्षिणी हिस्सों में अधिक होगा, जहां धुंध (fog) और ठंडी हवाएं अधिक महसूस की जाएंगी.
बादलवाही से धुंध में कमी संभव
हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन लाल खीचड़ ने बताया कि यदि बादल (cloud cover) पूरी तरह से छा जाते हैं तो धुंध (fog) में कमी आ सकती है. उन्होंने कहा कि उत्तरी राजस्थान पर एक चक्रवर्ती सरकुलेशन (cyclonic circulation) बनने से अरब सागर से नमी प्राप्त होगी, जिससे बारिश (rain) के आसार और अधिक मजबूत होंगे. इसके अलावा, इन हवाओं का असर राजस्थान से होते हुए हरियाणा में भी देखा जाएगा, जिससे यहां पर भी बारिश (rainfall) की संभावना है. इसके साथ ही, कुछ स्थानों पर ओलावृष्टि (hailstorm) भी हो सकती है जिससे किसानों को फसलों को लेकर सतर्क रहने की आवश्यकता होगी.
हवाओं के प्रभाव से बदल सकता है मौसम
डॉ. मदन लाल खीचड़ ने आगे बताया कि यह हवाएं हरियाणा में बदलाव लाने वाली हैं. अगर हवाएं सामान्य से तेज हो जाती हैं, तो इसका असर राज्य के मौसम पर पड़ेगा. इस समय राज्य में जो चक्रवात (cyclone) बन रहा है वह अरब सागर से नमी लाकर बारिश का कारण बनेगा. इसलिए किसानों और कृषि आधारित क्षेत्रों को यह सलाह दी जा रही है कि वे मौसम के अनुसार अपनी फसल तैयार रखें और किसी भी अनहोनी से बचने के लिए कदम उठाएं.
हवाओं के साथ बारिश का इंटेन्सिटी बढ़ने का अनुमान
वहीं मौसम विभाग ने बताया कि अगले कुछ दिनों में वेस्टर्न डिस्टरबेंस का असर और अधिक बढ़ सकता है, जिससे बारिश की इंटेन्सिटी (rain intensity) भी बढ़ सकती है. यह बदलाव खासकर उत्तर-पूर्वी हरियाणा में देखा जा सकता है, जहां बारिश के साथ ओलावृष्टि (hailstorm) भी हो सकती है. किसानों के लिए यह एक चुनौती हो सकती है, क्योंकि ओलावृष्टि से फसल को नुकसान पहुंच सकता है. इसके अलावा, ठंडी हवाओं के कारण ठंड में भी इजाफा हो सकता है.
दूसरे क्षेत्रों में भी होगी बारिश का असर
साथ ही हरियाणा के कुछ अन्य क्षेत्रों में भी बारिश का असर दिखाई दे सकता है. मौसम विभाग के मुताबिक, इस बारिश के कारण तापमान में और भी गिरावट आ सकती है. बारिश के साथ-साथ धुंध और ठंडी हवाएं बढ़ सकती हैं, जो विशेष रूप से उन क्षेत्रों में अधिक प्रभावी हो सकती हैं जहां यह पहले से ही ठंड का असर महसूस किया जा रहा है. इस स्थिति में आम जनता और यातायात से जुड़े विभागों को अलर्ट किया गया है ताकि किसी भी अप्रत्याशित स्थिति से बचा जा सके.